नीतीश ने जिस महिला का खींचा था हिजाब उसे झारखंड सरकार ने दिया ऑफर

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा मंच पर हिजाब हटाने पर चर्चा में आई मुस्लिम महिला डॉक्टर नुसरत परवीन को झारखंड सरकार ने नौकरी का ऑफर दिया है। नुसरत परवीन को बिहार में आज ड्यूटी जॉइन करनी थी, लेकिन हिजाब विवाद के बाद उन्होंने ड्यूटी जॉइन करने से मना कर दिया था। पिछले छह दिनों से इस मुद्दे पर देशभर में बहस हो रही है, और विपक्ष भी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को इस मुद्दे पर घेरने में जुटा है।
झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री डॉ. इरफान अंसारी ने नुसरत को 3 लाख रुपये प्रतिमाह की नौकरी का ऑफर दिया है। झारखंड मुक्ति मोर्चा का कहना है कि यहां महिलाओं का पूरा सम्मान किया जाता है, और बिहार में डॉक्टर नुसरत परवीन के साथ जो अमानवीय और शर्मनाक घटना हुई, उसने पूरे देश को झकझोर दिया है। उन्होंने कहा कि हिजाब खींचना सिर्फ एक महिला का नहीं, बल्कि संविधान और इंसानियत का भी अपमान है।
बिहार की नीतीश सरकार पर तंज कसते हुए झारखंड मुक्ति मोर्चा ने कहा कि झारखंड में बेटियों और डॉक्टरों के सम्मान से कोई समझौता नहीं किया जाता है। डॉ. नुसरत परवीन को झारखंड में ₹3,00,000 मासिक वेतन वाली सरकारी नौकरी दी जाएगी। इसके अलावा, उन्हें जहां चाहें, वहां पोस्टिंग दी जाएगी, और साथ ही सरकारी फ्लैट भी उपलब्ध कराया जाएगा, जहां पूर्ण सुरक्षा और सम्मानजनक कार्य वातावरण मिलेगा। झारखंड सरकार ने इसे नियुक्ति नहीं, बल्कि सम्मान की जीत करार दिया है।
खालिदा परवीन ने आरोप लगाया है कि उनकी इस हरकत से महिला की लज्जा भंग हुई है। लुबना सरवथ ने हैदराबाद की ओस्मानिया पुलिस स्टेशन में नीतीश के खिलाफ शिकायत दी है। उन पर जीरो एफआईआर दर्ज करने की मांग की है। घटना का सत्ता पक्ष के कुछ नेताओं ने बचाव किया है। उन्होंने इसे पिता जैसा स्नेह बताकर बचाव की पुरजोर कोशिश की। अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार संगठन Amnesty International ने भी घटना को महिला की स्वायत्तता, पहचान और गरिमा का उल्लंघन बताया।




